शोभना शर्मा। राजस्थान की राजनीति में इन दिनों एक अलग ही चर्चा चल रही है। आमतौर पर सत्ता और विपक्ष के बीच टकराव देखने को मिलता है, लेकिन इस बार कांग्रेस के एक विधायक ने सत्ता पक्ष के मुख्यमंत्री की खुलकर तारीफ की है। यह तारीफ इतनी भावुक थी कि विधायक ने मुख्यमंत्री को ‘कलियुग का देवता’ तक कह डाला और उनके लिए जीवन भर आभार जताने की बात कही।
यह मामला जुड़ा है झुंझुनूं जिले की बहुप्रतीक्षित कुंभाराम लिफ्ट नहर परियोजना से, जिसके लिए राज्य सरकार ने 1092 करोड़ रुपये का बजट स्वीकृत किया है। इस परियोजना की घोषणा होते ही कांग्रेस विधायक श्रवण कुमार की प्रतिक्रिया सामने आई जो राजनीतिक सौजन्य से कहीं अधिक भावनात्मक थी।
विधानसभा में उठाई थी मांग, अब मुख्यमंत्री को फोन कर जताया आभार
कांग्रेस विधायक श्रवण कुमार ने करीब चार महीने पहले राजस्थान विधानसभा में इस परियोजना को लेकर ज़ोरदार मांग उठाई थी। उन्होंने झुंझुनूं जिले में गंभीर पेयजल संकट का हवाला देते हुए कहा था कि यदि वर्ष 2026 तक इस परियोजना का काम पूरा नहीं हुआ, तो वे आंदोलन करते हुए अपने प्राणों की आहुति तक देने से पीछे नहीं हटेंगे।
अब जब मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में राज्य सरकार ने इस परियोजना के लिए 1092 करोड़ रुपये की बजट मंजूरी दी, तो विधायक श्रवण कुमार खुशी से फूले नहीं समाए। उन्होंने तुरंत मुख्यमंत्री को फोन कर लाउडस्पीकर पर बात की और कहा कि आपने वह काम कर दिखाया जो धरती पर कोई नहीं कर सकता। उन्होंने भावुक होकर मुख्यमंत्री को ‘कलियुग का देवता’ कहा और कहा कि वे इस सहयोग के लिए जीवन भर आभारी रहेंगे।
चिड़ावा के पेड़े खिलाने का दिया निमंत्रण
राजनीतिक सरहदों से परे जाकर श्रवण कुमार ने मुख्यमंत्री को चिड़ावा के प्रसिद्ध पेड़े खिलाने की बात भी कही। उन्होंने कहा कि वे जयपुर आकर मुख्यमंत्री को मिठाई खिलाएंगे। चिड़ावा के पेड़े शेखावाटी क्षेत्र की एक खास पहचान हैं और यह भाव मुख्यमंत्री के प्रति विधायक की आस्था और कृतज्ञता को दर्शाता है।
कुंभाराम लिफ्ट नहर परियोजना का महत्व
झुंझुनूं और उदयपुरवाटी जैसे क्षेत्र लंबे समय से जल संकट का सामना कर रहे हैं। कुंभाराम लिफ्ट नहर परियोजना इन क्षेत्रों के लिए जीवनरेखा मानी जा रही है। इसके पूरा होने से हजारों परिवारों को स्वच्छ पेयजल मिलेगा और खेतीबाड़ी के लिए भी राहत मिलेगी। इस परियोजना की लागत 1092 करोड़ रुपये है, जो कि राज्य के जल संसाधनों के लिए एक बड़ी पहल है।
श्रवण कुमार ने पहले भी विधानसभा में इस परियोजना को लेकर सरकार को कठघरे में खड़ा किया था। उन्होंने स्पष्ट चेतावनी दी थी कि यदि झुंझुनूं जैसे वीरों की भूमि को पानी नहीं मिला, तो वे अपने प्राणों की आहुति देने से नहीं चूकेंगे।
राजनीति में एक दुर्लभ उदाहरण
राजनीतिक दृष्टि से यह घटना इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि आमतौर पर सत्ता पक्ष और विपक्ष में आरोप-प्रत्यारोप का दौर चलता रहता है। लेकिन यहां कांग्रेस के विधायक ने खुले मंच से मुख्यमंत्री की प्रशंसा की है, जो लोकतांत्रिक सौहार्द और विकास की राजनीति का एक उत्तम उदाहरण प्रस्तुत करता है।