शोभना शर्मा। राजस्थान सरकार ने प्रशासनिक फेरबदल करते हुए झुंझुनूं और हनुमानगढ़ जिलों के पुलिस अधीक्षकों (एसपी) को हटा दिया है। कार्मिक विभाग की ओर से जारी आदेशों के अनुसार झुंझुनूं एसपी शरद चौधरी और हनुमानगढ़ एसपी अरशद अली को एसपी पद से हटाकर एपीओ (Awaiting Posting Order) कर दिया गया है।
ये दोनों अफसर जनवरी 2025 में ही आईपीएस प्रमोशन पाकर डीआईजी बन चुके थे, लेकिन उसके बावजूद अब तक जिला एसपी पद पर ही कार्यरत थे। राज्य सरकार के इस निर्णय के बाद इन दोनों जिलों में फिलहाल एसपी की नई नियुक्ति नहीं की गई है, जिससे यह अनुमान लगाया जा रहा है कि आगामी दिनों में व्यापक स्तर पर आईपीएस अधिकारियों का तबादला आदेश जारी किया जा सकता है।
प्रमोशन के बाद भी कर रहे थे पुराने पद पर काम
शरद चौधरी और अरशद अली सहित राजस्थान के कुल 10 आईपीएस अफसर ऐसे थे जिन्हें हाल ही में डीआईजी पद पर प्रमोट किया गया था, लेकिन वे अपने पूर्व के एसपी पद पर ही कार्यरत थे। अब इनमें से दो को एपीओ किया गया है, जबकि शेष 8 अधिकारी अभी भी एसपी पद पर तैनात हैं।
प्रमोशन के बाद उच्च पदभार ग्रहण न करने और पुराने पद पर बने रहने की यह स्थिति प्रशासनिक दृष्टिकोण से सवाल खड़े करती है। इस विषय में पुलिस विभाग और कार्मिक विभाग के बीच समन्वय की प्रक्रिया पर भी चर्चाएं हो रही हैं।
शिकायतों के चलते उठाया गया कदम?
राजनीतिक और प्रशासनिक गलियारों में इन दोनों अधिकारियों को हटाने को लेकर कई तरह की चर्चाएं हैं। सूत्रों के अनुसार, पिछले कुछ सप्ताहों से दोनों जिलों में विभिन्न शिकायतों और प्रशासनिक सुस्ती की बातें उठ रही थीं। इसे ही इन अधिकारियों को एपीओ किए जाने का मुख्य कारण माना जा रहा है।
हालांकि सरकार की ओर से जारी आदेश में किसी विशेष कारण का उल्लेख नहीं किया गया है, लेकिन यह स्पष्ट है कि इन अधिकारियों के कार्यकाल को लेकर सरकार संतुष्ट नहीं थी।
अब भी आठ डीआईजी एसपी के पद पर कार्यरत
शरद चौधरी और अरशद अली के अलावा राज्य में अभी भी आठ आईपीएस अधिकारी ऐसे हैं जो डीआईजी प्रमोट हो चुके हैं, परंतु एसपी के पद पर ही कार्यरत हैं। इन अधिकारियों में आनंद शर्मा, गौरव यादव, भुवन भूषण यादव, प्रहलाद सिंह कृष्णिया, राजन दुष्यंत, शंकर दत्त शर्मा, राममूर्ति जोशी और आलोक श्रीवास्तव के नाम शामिल हैं।