मनीषा शर्मा, अजमेर। राजस्थान विधान सभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी की मौजूदगी में राजस्थान विधान सभा के डिजिटल म्यूजियम को राज्य की संस्कृति के अनुरूप परिवर्तित और विस्तारित करने के लिए एक चतुष्पक्षीय अनुबंध किया गया। इस अनुबंध में राजस्थान विधान सभा, जयपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड, वामा कम्यूनिकेशन, और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग शामिल हैं।
देवनानी के प्रयासों से म्यूजियम का प्रचार-प्रसार बढ़ रहा है और इसे पर्यटन मानचित्र में जोड़ने के कारण स्थानीय और अंतर्राष्ट्रीय पर्यटकों की संख्या में वृद्धि हो रही है। इस अनुबंध से म्यूजियम के संचालन और संधारण का काम विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के तहत किया जाएगा।
विधान सभा अध्यक्ष देवनानी ने बताया कि दर्शकों के इनपुट के आधार पर म्यूजियम की सामग्री को और अधिक समृद्ध किया जाएगा। म्यूजियम की प्रवेश दीर्घा को राजस्थानी कला और संस्कृति के अनुरूप आकर्षक बनाया जाएगा, जिसमें पारंपरिक लघु चित्र शैली, मांडना, कावड, मूमल आदि लोक कला के चित्रण को विशिष्ट स्थान दिया जाएगा। रैम्प के दोनों ओर राजस्थान की प्रमुख वनस्पतियों के वृक्ष भी रोपित किए जाएंगे।
स्वतंत्रता आंदोलन के अन्य नायकों, जैसे महाराणा प्रताप, राणा सांगा, स्वामी विवेकानंद, और डॉ. भीमराव अंबेडकर को भी संग्रहालय में शामिल किया जाएगा। राजस्थान के रियासती काल और सांस्कृतिक दीर्घा में कला और संस्कृति के महत्वपूर्ण व्यक्तित्वों को प्रदर्शित किया जाएगा। गणगौर तीज जैसे राजस्थानी प्रतीकों को भी प्रमुख स्थान दिया जाएगा।
संविधान के 22 भागों को चित्रों सहित विधान सभा मॉडल के पास जोड़ा जाएगा और संविधान निर्माण में राजस्थान के महानुभावों की भूमिका को प्रदर्शित किया जाएगा। म्यूजियम को ऑनलाइन भी किया जाएगा, जिससे विदेशों में बैठे लोग भी इसे वर्चुअली देख सकेंगे।