मनीषा शर्मा। राजस्थान की राजधानी जयपुर में लगातार हो रही बारिश ने हालात बेहद गंभीर बना दिए हैं। शहर के बाहरी इलाकों और ढाणियों में पानी भरने से जनजीवन पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है। आमेर और आसपास की पहाड़ियों से लगातार पानी आने से कई गांव जलमग्न हो गए हैं। हमारी टीम जब ग्राउंड जीरो पर पहुंची, तो हर तरफ अफरा-तफरी का मंजर देखने को मिला। लोग अपने घरों और सामान को बचाने की जद्दोजहद में लगे थे।
हाईवे बना ‘मौत का जाल’
जयपुर से दिल्ली को जोड़ने वाला नेशनल हाईवे-8 (NH-8) इस समय सबसे ज्यादा खतरनाक साबित हो रहा है। तेज बहाव और पहाड़ी से आ रहे पानी ने सड़क को कई जगह से काट दिया है। जहां पहले चिकनी सड़क थी, अब वहां गहरे-गहरे गड्ढे बन गए हैं। इन गड्ढों में बाइक और कारें फंस रही हैं।
हमारी टीम ने मौके पर देखा कि कैसे लोग अपनी गाड़ियों को पानी और गड्ढों से बाहर निकालने के लिए संघर्ष कर रहे थे। कुछ वाहन बीच सड़क पर ही बंद हो गए और लोगों को उन्हें धक्का देकर निकालना पड़ा। पानी का तेज बहाव वाहनों को बहा ले जाने की स्थिति पैदा कर रहा है।
यातायात पूरी तरह बाधित हो गया है। सुरक्षा पर भी गंभीर सवाल उठ रहे हैं, क्योंकि यात्रियों की जान इस खतरनाक स्थिति में दांव पर लग रही है।
सांखलों की ढाणी की दर्दनाक कहानी
इस त्रासदी के बीच सबसे दर्दनाक कहानी सांखलों की ढाणी से सामने आई। यहां रहने वाली संतोष ने बताया कि तीन साल पहले भी भारी बारिश और बाढ़ जैसे हालात में उनके पति की मौत हो गई थी। आज, वही खौफनाक दृश्य फिर सामने है।
संतोष के घर में पानी भर गया है। खाने का सामान, कपड़े और मवेशियों के लिए रखा चारा—सब पानी में बह गया है। वे अपने घर का सामान बचाने की कोशिश कर रही हैं। संतोष की आंखों में डर और बेबसी साफ झलक रही थी।
उनकी तरह कई परिवार घरों से भीगते हुए सामान निकाल रहे थे, ताकि जो कुछ बचा है, उसे संभाला जा सके। यह दृश्य दिल को झकझोर देने वाला था—एक ऐसा परिवार जो पहले से त्रासदी झेल चुका था, अब उसी मुसीबत का सामना दोबारा कर रहा है।
वेद नगर में चार दिन से जलभराव
जयपुर का वेद नगर इलाका इस समय सबसे अधिक प्रभावित है। तेज बारिश और पहाड़ी से आने वाले पानी ने पूरे कॉलोनी को जलमग्न कर दिया है। लोग पिछले चार दिनों से पानी में ही फंसे हुए हैं।
पानी का स्तर इतना बढ़ चुका है कि पैदल चलना भी मुश्किल हो गया है। कई घरों में पानी से कटाव हो गया और दीवारें क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं। लगातार हो रही बारिश ने लोगों के लिए हालात और भी बिगाड़ दिए हैं।
लोग घरों में कैद हैं, बाहर निकलने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे। उनकी रोजमर्रा की जिंदगी ठप हो गई है। बच्चे स्कूल नहीं जा पा रहे और लोग दफ्तर या काम पर नहीं पहुंच पा रहे।
प्रशासन के लिए चुनौती
जयपुर-दिल्ली हाईवे और आसपास के प्रभावित गांवों में हालात प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती बने हुए हैं। एक ओर हाईवे की खस्ता हालत यात्रियों की सुरक्षा को खतरे में डाल रही है, तो दूसरी ओर ग्रामीण और शहरी इलाके जलमग्न होकर लोगों की जिंदगी रोक रहे हैं।
स्थानीय लोग प्रशासन से राहत और मदद की गुहार लगा रहे हैं। फिलहाल एनएच-8 पर यातायात को नियंत्रित करने और पानी निकासी के प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन हालात सामान्य होने में समय लग सकता है।