शोभना शर्मा। राजस्थान में मतदाता सूचियों को सटीक और त्रुटिरहित बनाने के लिए भारत निर्वाचन आयोग द्वारा विशेष संक्षिप्त पुनरीक्षण (एसएसआर) 2025 अभियान चलाया जा रहा है। इस अभियान के तहत प्रदेश के 193 विधानसभा क्षेत्रों की प्रारूप मतदाता सूचियों का प्रकाशन 29 अक्टूबर को किया गया। इस सूची में वे नागरिक भी अपना नाम जुड़वा सकते हैं, जो 1 जनवरी, 2025 को 18 वर्ष की आयु पूरी कर रहे हैं। साथ ही, जिनकी आयु 17 वर्ष से अधिक है और जो क्रमशः 1 अप्रैल, 1 जुलाई और 1 अक्टूबर 2025 को 18 वर्ष के होंगे, वे भी अग्रिम आवेदन करके मतदाता सूची में नाम जुड़वा सकते हैं।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी नवीन महाजन ने एक बैठक में बताया कि त्रुटिरहित सूचियां बनाने के लिए अधिकतम नागरिकों को शामिल करना आवश्यक है। मतदाता अपने नाम, पते, जन्मतिथि और अन्य जानकारी में सुधार के लिए आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए, वे बीएलओ (बूथ लेवल ऑफिसर), वोटर हेल्पलाइन एप (वीएचए), या वोटर सर्विस पोर्टल का इस्तेमाल कर सकते हैं। आवेदन प्रस्तुत करने की अंतिम तिथि 28 नवम्बर रखी गई है।
विशेष बैठकों का आयोजन
एसएसआर अभियान के तहत ग्राम सभाओं, वार्डों, और आवासीय वेलफेयर सोसायटीज में विशेष बैठकों का आयोजन किया जाएगा। आगामी 9 और 23 नवम्बर को प्रारूप मतदाता सूचियों का सत्यापन किया जाएगा, जिसमें नागरिक अपने नाम जोड़ने, हटाने, या अन्य त्रुटियों के सुधार के लिए आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, 10 और 24 नवम्बर को मतदान केन्द्रों पर भी बीएलओ द्वारा बैठकों का आयोजन होगा, जिनमें सभी नागरिक और राजनैतिक दलों के प्रतिनिधि सम्मिलित होंगे। यह बैठकों का उद्देश्य है कि अधिक से अधिक लोग आवेदन करें और सूचियों को त्रुटिरहित बनाएं।
दावों और आपत्तियों का निस्तारण
प्रारूप मतदाता सूचियों पर सभी दावों और आपत्तियों का निस्तारण 24 दिसम्बर तक किया जाएगा। इसके बाद अंतिम मतदाता सूची का प्रकाशन 6 जनवरी, 2025 को किया जाएगा। इस प्रक्रिया में किसी भी प्रकार की त्रुटियों को कम करने के लिए निर्वाचन अधिकारी पूर्ण रूप से सजग हैं। इस बार मतदाता सूची में नाम जोड़ने के लिए पात्रता तिथि 1 जनवरी, 2025 निर्धारित की गई है, जिससे नए मतदाताओं को समय पर नामांकन करने का मौका मिल सके।
घर-घर सत्यापन अभियान
एसएसआर अभियान के तहत राजस्थान में बीएलओ द्वारा शत-प्रतिशत घर-घर सत्यापन का कार्य भी किया गया है। इसके अंतर्गत कुल 5.35 करोड़ मतदाताओं का सत्यापन किया गया, जिसमें 2,20,324 अनुपस्थित मतदाता, 1,52,025 मृतक मतदाता, 1,11,061 स्थानांतरित मतदाता, और 20,272 दोहरी प्रविष्टि वाले मतदाता चिन्हित किए गए हैं। यह सत्यापन अभियान राज्यभर में चलाया गया, जिससे मतदाता सूचियों की सटीकता सुनिश्चित हो सके।
मतदान केन्द्रों का पुनर्गठन
एसएसआर अभियान के अंतर्गत निर्वाचन अधिकारियों द्वारा मतदान केन्द्रों का भौतिक सत्यापन और पुनर्गठन भी किया गया है। अधिक संख्या वाले मतदान केन्द्रों को नए केंद्रों में विभाजित किया गया है। नए राजस्व गांवों में 300 से अधिक मतदाता होने पर नए मतदान केन्द्र गठित किए गए हैं। इस पुनर्गठन के तहत कुल 716 नए मतदान केन्द्र बनाए गए, जिनमें से 384 मतदान केन्द्र राजस्व ग्रामों में, 332 अन्य कारणों से, और 3 मतदान केन्द्र समाहित किए गए हैं। इस प्रक्रिया से अब प्रदेश में कुल मतदान केन्द्रों की संख्या 52,469 हो गई है।
सांख्यिकी जानकारी
राज्य के 193 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों की प्रारूप मतदाता सूची में कुल 5.17 करोड़ मतदाता दर्ज किए गए हैं। इनमें 2,67,85,372 पुरुष, 2,47,56,276 महिला, 645 थर्ड जेंडर मतदाता, और 1,32,865 सेवा नियोजित मतदाता शामिल हैं। राजस्थान में चल रहे उपचुनावों में भी मतदाता सूचियों का पुनरीक्षण बाद में किया जाएगा।
ऑनलाइन आवेदन के विकल्प
मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने नागरिकों को वोटर हेल्पलाइन एप का उपयोग करने की सलाह दी है। यह ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया न केवल अधिक सुविधाजनक है बल्कि त्रुटिरहित सूचियां बनाने में भी सहायक है। यह एप मतदाताओं के लिए एक सरल और प्रभावी साधन है, जिससे वे घर बैठे ही अपने नाम और अन्य जानकारी में सुधार कर सकते हैं।
एसएसआर 2025 अभियान का मुख्य उद्देश्य मतदाता सूचियों को त्रुटिरहित और सटीक बनाना है, जिससे आगामी चुनावों में निष्पक्षता बनी रहे और सभी योग्य नागरिकों को मतदान का अधिकार मिले।