मनीषा शर्मा। जयपुर के भांकरोटा क्षेत्र में हुए भीषण अग्निकांड को लेकर राजस्थान हाई कोर्ट में आज सुनवाई होगी। यह मामला 20 दिसंबर को हुए गैस टैंकर और ट्रक की भयानक टक्कर के बाद हुई त्रासदी से जुड़ा है। हादसे के बाद राजस्थान हाई कोर्ट ने मामले का स्वतः संज्ञान लिया था और अधिकारियों से जवाब तलब किया था।
घटना का विवरण
20 दिसंबर की सुबह, भांकरोटा क्षेत्र में एक गैस टैंकर और ट्रक की टक्कर हुई। इस हादसे में गैस टैंकर के तीनों नोजल टूटने से एलपीजी गैस का तीव्र रिसाव हुआ। गैस रिसाव के दौरान गाड़ियों की रगड़, इग्निशन की स्पार्क या चिंगारी के कारण आग भड़क गई। आग की लपटों ने आसपास के क्षेत्र को अपनी चपेट में ले लिया, जिससे बड़ा अग्निकांड हुआ।
इस घटना में कई लोगों की मौत हो गई, और बड़ी संख्या में लोग झुलस गए। साथ ही, इस दुर्घटना में संपत्ति का भी भारी नुकसान हुआ। हादसे के पीछे सुरक्षा मानकों की अनदेखी और लापरवाही को मुख्य कारण माना जा रहा है।
हाई कोर्ट की कार्रवाई
हाई कोर्ट ने इस मामले की गंभीरता को देखते हुए स्वतः संज्ञान लिया और भारत सरकार, पेट्रोलियम विभाग, और राजस्थान सरकार के अधिकारियों को नोटिस जारी किया।
आज जस्टिस एम.एन. श्रीवास्तव की अध्यक्षता वाली पीठ इस मामले की सुनवाई करेगी। अधिकारियों को नोटिस का जवाब देने के लिए कोर्ट में पेश होना होगा।
मुख्य मुद्दे और चर्चा के बिंदु
सुरक्षा मानकों की अनदेखी: हादसे में सुरक्षा नियमों का उल्लंघन और गैस टैंकर की सुरक्षा जांच की कमी स्पष्ट नजर आई।
भविष्य में ऐसे हादसे रोकने के उपाय: कोर्ट सुरक्षा मानकों को सख्ती से लागू करने और घटनाओं को रोकने के लिए संभावित कदमों पर चर्चा करेगी।
प्रभावित परिवारों को सहायता: कोर्ट प्रभावित लोगों को मुआवजा और राहत प्रदान करने के मुद्दे पर भी विचार कर सकती है।
घटना का असर और भविष्य के कदम
भांकरोटा अग्निकांड ने सुरक्षा मानकों को लेकर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। पेट्रोलियम और गैस टैंकरों की नियमित जांच, सड़क पर उनके संचालन के लिए कड़े नियम, और आपात स्थितियों से निपटने के लिए बेहतर तैयारियों की आवश्यकता है।
प्रभावितों को न्याय दिलाने का प्रयास
हाई कोर्ट की सुनवाई में हादसे के कारणों, लापरवाही के लिए जिम्मेदार व्यक्तियों और अधिकारियों पर कार्रवाई का निर्धारण किया जाएगा। साथ ही, प्रभावित परिवारों को राहत और मुआवजा देने पर भी विचार होगा।
अधिकारियों का जवाब महत्वपूर्ण
आज की सुनवाई में राजस्थान सरकार और पेट्रोलियम विभाग के अधिकारियों को हादसे के बारे में विस्तृत जानकारी और भविष्य की योजनाओं का जवाब देना होगा। कोर्ट इस मामले में कठोर कदम उठाने की संभावना जता रही है।