latest-newsजयपुरराजस्थान

मंडी श्रमिकों को 2024 में 265 लाख की आर्थिक सहायता

मंडी श्रमिकों को 2024 में 265 लाख की आर्थिक सहायता

मनीषा शर्मा। महात्मा ज्योतिबा फुले मंडी श्रमिक कल्याण योजना-2015 के तहत, राज्य सरकार द्वारा मंडी श्रमिकों के कल्याण के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में, राज्य ने जनवरी 2024 से जुलाई 2024 तक 672 हम्माल, तुलारा, और पल्लेदारों को कुल 265 लाख 33 हजार 537 रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की है।

योजना का उद्देश्य और सहायता

इस योजना का उद्देश्य मंडी में काम करने वाले श्रमिकों को विभिन्न आर्थिक संकटों से उबारना है। इसके अंतर्गत हम्मालों और पल्लेदारों को प्रसूति, पितृत्व, विवाह, चिकित्सा, और शिक्षा से संबंधित सहायता दी जाती है। महिला हम्मालों को प्रसूति सहायता के तहत 45 दिनों की मजदूरी और पुरुष हम्मालों को पितृत्व के लिए 15 दिन की मजदूरी सहायता दी जाती है। इसके अतिरिक्त, दो बेटियों के विवाह पर प्रति बेटी 50,000 रुपये की सहायता राशि प्रदान की जाती है।

शिक्षा और चिकित्सा सहायता

मंडी श्रमिकों के बच्चों को शिक्षा में प्रोत्साहन के लिए 10वीं कक्षा से स्नातकोत्तर तक छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है। 10वीं और 12वीं कक्षा में 70 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाले छात्रों को 2,000 से 6,000 रुपये तक की छात्रवृत्ति मिलती है। इसके अलावा, गंभीर बीमारियों जैसे कैंसर, हार्ट अटैक, लीवर या किडनी की बीमारियों के इलाज के लिए श्रमिकों को 20,000 रुपये तक की चिकित्सा सहायता दी जाती है।

अंशदान और पात्रता

योजना के तहत मंडी श्रमिकों का अंशदान अनिवार्य है, जो मंडी की श्रेणी के अनुसार 200 से 1,000 रुपये तक हो सकता है। इसके अलावा, योजना का लाभ लेने के लिए श्रमिक की आयु 18 से 60 वर्ष के बीच होनी चाहिए और उन्हें राज्य का मूल निवासी होना अनिवार्य है। श्रमिकों को किसी अन्य स्रोत से वेतन नहीं मिलना चाहिए।

लाभार्थी अनुभव

जयपुर की सूरजपोल अनाज मंडी के पल्लेदार मूलचंद योगी ने इस योजना का लाभ उठाते हुए अपनी बेटी की शादी के लिए 50,000 रुपये की आर्थिक सहायता प्राप्त की। उन्होंने राज्य सरकार का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह योजना श्रमिकों के लिए वरदान साबित हो रही है।

post bottom ad

Discover more from MTTV INDIA

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading