शोभना शर्मा। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की अखिल भारतीय समन्वय बैठक इस बार राजस्थान के जोधपुर में आयोजित हो रही है। 5 से 7 सितंबर तक चलने वाली यह बैठक लालसागर स्थित आदर्श डिफेंस एंड स्पोर्ट्स एकेडमी परिसर में होगी। बैठक में संघ प्रमुख डॉ. मोहन भागवत, सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबले और संघ के शीर्ष नेतृत्व की मौजूदगी रहेगी।
बैठक की रूपरेखा
आरएसएस के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने गुरुवार को पत्रकार वार्ता में इस बैठक का विस्तृत खाका प्रस्तुत किया। उनके साथ जोधपुर प्रांत संघचालक हरदयाल वर्मा भी मौजूद रहे। आंबेकर ने बताया कि बैठक की शुरुआत 5 सितंबर की सुबह 9 बजे होगी और यह 7 सितंबर तक चलेगी।
इस बैठक में संघ प्रेरित कुल 32 संगठनों के प्रमुख पदाधिकारी भाग लेंगे। इनमें से 249 विभिन्न संगठनों के कार्यकर्ता और अन्य संघ अधिकारियों को मिलाकर कुल 320 कार्यकर्ता इसमें शामिल होंगे। महिलाओं के लिए अलग से महिला समन्वय बैठक का भी आयोजन होगा।
वरिष्ठ नेतृत्व की मौजूदगी
इस महत्वपूर्ण आयोजन में सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत और सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबले विशेष मार्गदर्शन देंगे। उनके साथ ही संघ के सभी छह सह सरकार्यवाह—डॉ. कृष्ण गोपाल, सी आर मुकुंद, अरुण कुमार, रामदत्त, आलोक कुमार और अतुल लिमये भी बैठक में उपस्थित रहेंगे। इनकी मौजूदगी से यह बैठक और भी अहम मानी जा रही है।
भाग लेने वाले संगठन
इस बैठक में भारतीय जनता पार्टी (BJP) सहित संघ प्रेरित सभी प्रमुख संगठनों के पदाधिकारी मौजूद रहेंगे। इनमें विश्व हिंदू परिषद, भारतीय मजदूर संघ, भारतीय किसान संघ, विद्या भारती, अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद, स्वदेशी जागरण मंच, संस्कार भारती और सेवा भारती जैसे संगठन शामिल हैं।
पांच प्रमुख विषयों पर चर्चा
आंबेकर ने स्पष्ट किया कि इस बैठक में 5 विषयों पर विशेष चर्चा की जाएगी। हालांकि, उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि यह बैठक केवल समन्वय और विचार-विमर्श के लिए होती है, न कि किसी निर्णय के लिए। यहां कोई प्रस्ताव पारित नहीं किया जाता, बल्कि संगठन अपनी-अपनी कार्यकारिणी में जाकर निर्णय लेते हैं।
इस बैठक का मुख्य उद्देश्य विभिन्न संगठनों के बीच तालमेल और समन्वय को मजबूत करना है। इसमें संगठन अपने वार्षिक कार्यों और योजनाओं की रिपोर्ट प्रस्तुत करेंगे और आने वाले समय के लिए रणनीति पर चर्चा करेंगे।
शताब्दी वर्ष की तैयारी
आरएसएस अपने 100 वर्ष पूरे करने जा रहा है। आगामी विजयादशमी यानी 2 अक्टूबर से संघ का शताब्दी वर्ष प्रारंभ होगा। यह अवधि 2025-26 के बीच मनाई जाएगी। आंबेकर ने बताया कि नागपुर में विशेष कार्यक्रम के साथ-साथ देशभर में बड़े-बड़े आयोजन किए जाएंगे। शताब्दी वर्ष के आयोजन को लेकर यह बैठक भी विशेष महत्व रखती है क्योंकि इसमें कार्यकर्ताओं और संगठनों से जुड़े कार्यक्रमों की रूपरेखा तय होगी।
राजस्थान से विशेष लगाव
जोधपुर में बैठक आयोजित करने को लेकर पूछे गए सवाल पर आंबेकर ने कहा कि राजस्थान संघ के लिए हमेशा से महत्वपूर्ण रहा है। प्रारंभिक दिनों से ही यहां संघ का काम व्यापक रूप से बढ़ा है। राजस्थान के लोगों ने संघ को हमेशा विशेष सहयोग और समर्थन दिया है। यही कारण है कि इस बार अखिल भारतीय समन्वय बैठक के लिए जोधपुर को चुना गया है।
सुरक्षा और व्यवस्थाएं
लालसागर परिसर को बैठक के लिए पूरी तरह तैयार कर दिया गया है। सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है और संघ कार्यकर्ताओं ने बैठक को सुचारू रूप से संचालित करने के लिए आवश्यक व्यवस्थाओं को अंतिम रूप दे दिया है। तीन दिन तक चलने वाले इस आयोजन के दौरान रजिस्ट्रेशन से लेकर सत्रों के संचालन तक की जिम्मेदारी स्वयंसेवकों के हाथों में होगी।