मनीषा शर्मा। कोटा में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) की प्रक्रिया 4 नवंबर से शुरू हो गई है। यह अभियान 4 दिसंबर 2025 तक चलेगा। इस दौरान जिले के सभी मतदाताओं के नाम, पते, फोटो और अन्य विवरण का सत्यापन किया जाएगा। कोटा जिले में वर्तमान में कुल 15 लाख 32 हजार 550 मतदाता पंजीकृत हैं। इनमें से केवल 5 लाख 74 हजार 5 नए मतदाताओं को ही पहचान संबंधी दस्तावेज प्रस्तुत करने होंगे, जबकि शेष मतदाताओं को केवल गणना प्रपत्र (enumeration form) भरकर हस्ताक्षर करना और नवीनतम फोटो देना होगा।
अभियान की समयसीमा और उद्देश्य
उप जिला निर्वाचन अधिकारी वीरेंद्र सिंह यादव ने जानकारी दी कि यह पुनरीक्षण अभियान मतदाता सूचियों की सटीकता और अद्यतनता सुनिश्चित करने के लिए किया जा रहा है। इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि कोटा जिले का कोई भी योग्य नागरिक मतदाता सूची से वंचित न रहे।
अभियान प्रारंभ तिथि: 4 नवंबर 2025
अभियान समाप्ति तिथि: 4 दिसंबर 2025
प्रक्रिया: घर-घर जाकर गणना प्रपत्र भरवाना
कुल मतदाता: 15.32 लाख
नए मतदाता: 5.74 लाख (दस्तावेज आवश्यक)
इस प्रक्रिया के दौरान बीएलओ (Booth Level Officer) घर-घर जाकर मतदाताओं से जानकारी एकत्र करेंगे।
गणना प्रपत्र में भरनी होगी यह जानकारी
मतदाता सूची पुनरीक्षण के लिए तैयार किया गया गणना प्रपत्र (Enumeration Form) एक पृष्ठ का होगा, जिसमें मतदाता से संबंधित अधिकांश जानकारी पहले से भरी होगी। इसमें नाम, पता, भाग संख्या, क्रमांक संख्या और मतदाता की फोटो पहले से छपी होगी। बीएलओ मतदाताओं को यह प्रपत्र देंगे और भरने में सहायता करेंगे। मतदाता को निम्नलिखित सूचनाएं भरनी होंगी:
जन्म तिथि
आधार संख्या (वैकल्पिक)
पिता, माता या अभिभावक का नाम
एपिक नंबर (EPIC) – वैकल्पिक
मोबाइल नंबर
नवीनतम पासपोर्ट साइज रंगीन फोटो
बीएलओ इस प्रपत्र की दो प्रतियां देंगे। एक प्रति बीएलओ के पास जाएगी और दूसरी रसीद के रूप में मतदाता के पास रहेगी।
कोटा में मतदाता संख्या में बड़ा इजाफा
कोटा जिले की मतदाता संख्या पिछले दो दशकों में काफी बढ़ी है।
साल 2002 में मतदाता संख्या थी: 9,58,545
साल 2025 में मतदाता संख्या पहुंच गई: 15,32,550
इस प्रकार 23 वर्षों में मतदाताओं की संख्या में लगभग 5 लाख 74 हजार से अधिक की वृद्धि हुई है। उप जिला निर्वाचन अधिकारी के अनुसार, इस वृद्धि के चलते नए मतदाताओं का सत्यापन और दस्तावेज संग्रह आवश्यक है।
मैपिंग प्रक्रिया और तकनीकी सत्यापन
अभी तक जिले के 68 प्रतिशत मतदाताओं की मैपिंग पूरी हो चुकी है। शेष 32 प्रतिशत मतदाताओं की मैपिंग एसआईआर के दौरान की जाएगी। मतदाता सूची के साथ वंशावली आधारित “वंशज मैपिंग” (Genealogical Mapping) की प्रक्रिया भी शुरू की गई है। यदि किसी वर्तमान मतदाता के माता-पिता, दादा-दादी या नाना-नानी का नाम विगत एसआईआर की सूची में पहले से मौजूद है, तो परिवारिक संबंधों के माध्यम से नए मतदाता का सत्यापन कर लिया जाएगा। इससे दस्तावेज़ प्रस्तुत करने की आवश्यकता नहीं रहेगी और प्रक्रिया सरल हो जाएगी।
बीएलओ की जिम्मेदारियां
विशेष पुनरीक्षण अभियान में बीएलओ की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। वे घर-घर जाकर मतदाताओं को गणना प्रपत्र वितरित करेंगे, जानकारी भरने में सहायता करेंगे और भरे हुए प्रपत्रों को संग्रहित कर ऐप के माध्यम से अपलोड करेंगे। बीएलओ निम्नलिखित कार्य करेंगे:
आंशिक रूप से भरे गणना प्रपत्र की दो प्रतियां मतदाताओं को देना।
पिछले एसआईआर के रिकॉर्ड से वर्तमान मतदाताओं की जानकारी लेकर सत्यापन करना।
जिन मतदाताओं के दस्तावेज आवश्यक हैं, उनसे पहचान प्रमाण लेना।
सभी डेटा को डिजिटल रूप में अपलोड करना और रिपोर्ट तैयार करना।
भारत निर्वाचन आयोग (ECI) की वेबसाइट तथा मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO Rajasthan) के पोर्टल पर सभी राज्यों की पूर्व एसआईआर सूचियां उपलब्ध हैं, जिनकी सहायता से बीएलओ डेटा की जांच करेंगे।
मतदाता सूची में बदलाव और विस्तार
कोटा जिले में अब कुल 6 विधानसभा क्षेत्र और 1463 मतदान केंद्र हैं। साल 2002 में यहां केवल 5 विधानसभा क्षेत्र और 957 मतदान केंद्र हुआ करते थे। इससे यह साफ है कि बढ़ती जनसंख्या और शहरी विस्तार के साथ कोटा की निर्वाचन संरचना भी व्यापक हुई है। अब जिले में हर मतदाता के लिए मतदान केंद्र की दूरी कम करने और सुविधा बढ़ाने की दिशा में भी काम चल रहा है।
डिजिटल सिस्टम से बढ़ी पारदर्शिता
राजस्थान के निर्वाचन विभाग ने इस बार एसआईआर प्रक्रिया को अधिक पारदर्शी और तकनीकी रूप से सशक्त बनाया है। मतदाता सूचियां पहले ही वेबसाइट पर अपलोड की जा चुकी हैं ताकि कोई भी नागरिक अपनी प्रविष्टि की जांच कर सके। इसके अलावा, सभी बीएलओ को मोबाइल एप्लिकेशन के माध्यम से डेटा अपडेट करने की सुविधा दी गई है, जिससे समय और संसाधनों की बचत होगी।
जनजागरूकता और सहयोग की अपील
निर्वाचन अधिकारी ने जिले के सभी नागरिकों से अपील की है कि वे बीएलओ के आने पर पूर्ण सहयोग करें और मांगी गई जानकारी सही-सही भरें। उन्होंने कहा कि यह प्रक्रिया लोकतंत्र को मजबूत करने का हिस्सा है, इसलिए हर पात्र व्यक्ति को मतदाता सूची में अपना नाम सुनिश्चित कराना चाहिए।


