शोभना शर्मा। भीलवाड़ा में सीएनजी पंपकर्मी को थप्पड़ मारने के मामले में निलंबित अफसर छोटू लाल शर्मा एक बार फिर सुर्खियों में हैं। यह मामला न केवल सोशल मीडिया पर चर्चा का विषय बना हुआ है, बल्कि अब पुलिस जांच के नए पहलू भी सामने आ रहे हैं। भीलवाड़ा के पुलिस अधीक्षक (एसपी) धमेन्द्र सिंह यादव ने इस विवाद को लेकर बड़ा खुलासा करते हुए कहा कि अब तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है, बल्कि कुछ लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है। उन्होंने बताया कि जांच पूरी तरह सीसीटीवी फुटेज और नए आपराधिक कानूनों के अनुसार की जा रही है।
क्या है पूरा मामला?
घटना प्रतापगढ़ जिले के पूर्व एसडीएम छोटू लाल शर्मा से जुड़ी है, जो वर्तमान में निलंबित चल रहे हैं। वे कुछ दिन पहले भीलवाड़ा में अपनी कार में सीएनजी भराने के लिए एक पंप पर रुके थे। वहां उनका विवाद पंपकर्मियों से हो गया। छोटू लाल शर्मा का कहना था कि उन्होंने पहले अपनी गाड़ी में सीएनजी भराने को कहा, लेकिन पंपकर्मी ने उनकी कार छोड़ किसी दूसरी गाड़ी में गैस भर दी, जिससे नाराज होकर दोनों पक्षों के बीच बहस हो गई। बहस इतनी बढ़ी कि दोनों ओर से थप्पड़ चलने की नौबत आ गई। यह पूरी घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई और वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया।
छोटू लाल शर्मा की पत्नी ने दर्ज कराया मामला
विवाद के बाद छोटू लाल शर्मा की पत्नी ने पंपकर्मियों के खिलाफ केस दर्ज कराया, जिसमें गंभीर आरोप लगाए गए। शिकायत में कहा गया कि पंपकर्मियों ने अश्लील हरकतें कीं, गालियां दीं और उनके पति पर हमला किया। दूसरी ओर, पंपकर्मियों ने भी पलटवार करते हुए आरोप लगाया कि पहले एसडीएम ने सरकारी रौब दिखाया और थप्पड़ मारा। दोनों पक्षों की शिकायत के बाद पुलिस ने दोनों की रिपोर्ट दर्ज की और सीसीटीवी फुटेज सुरक्षित कर जांच शुरू कर दी।
एसपी धमेन्द्र सिंह यादव ने दी अपडेट जानकारी
मामले में पुलिस अधीक्षक धमेन्द्र सिंह यादव ने कल शाम प्रेस वार्ता कर स्थिति स्पष्ट की। उन्होंने बताया कि— “हमने इस पूरे मामले के सभी वीडियो और सीसीटीवी फुटेज सुरक्षित कर लिए हैं। दोनों पक्षों की रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। अभी तक किसी को गिरफ्तार नहीं किया गया है। शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए कुछ लोगों को केवल हिरासत में लिया गया है। नए आपराधिक कानून के अनुसार, प्रारंभिक जांच चल रही है। जल्द ही निष्कर्ष तक पहुंचने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।” एसपी ने यह भी कहा कि जांच तथ्यों और सबूतों के आधार पर की जाएगी, ताकि किसी के साथ अन्याय न हो।
सोशल मीडिया पर वायरल हुआ वीडियो
घटना के तुरंत बाद यह मामला सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। छोटू लाल शर्मा और उनकी पत्नी के वीडियो लगातार शेयर किए जा रहे हैं, जिसमें वे अपनी सफाई दे रहे हैं। हालांकि, पंपकर्मियों की ओर से कोई वीडियो सार्वजनिक रूप से नहीं आया है। सोशल मीडिया पर लोग इस मामले में दो हिस्सों में बंटे नजर आ रहे हैं — कुछ लोग सरकारी अधिकारी का पक्ष ले रहे हैं, जबकि कुछ पंपकर्मियों के साथ खड़े हैं।
सरकार ने किया था अफसर को निलंबित
इस विवाद के तुरंत बाद राज्य सरकार ने छोटू लाल शर्मा को निलंबित कर दिया था। राजस्थान शासन के गृह विभाग ने आदेश जारी करते हुए कहा था कि— “एक सरकारी अधिकारी द्वारा आम नागरिक के साथ मारपीट और अभद्रता अस्वीकार्य है। जांच पूरी होने तक अधिकारी को निलंबित रखा जाएगा।”
अब जांच पर टिकी हैं निगाहें
भीलवाड़ा पुलिस ने यह साफ कर दिया है कि जांच निष्पक्ष तरीके से की जाएगी। दोनों पक्षों के बयान दर्ज हो चुके हैं और अब पुलिस वीडियो फुटेज, गवाहों और घटनास्थल के सबूतों का विश्लेषण कर रही है। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, जांच रिपोर्ट अगले कुछ दिनों में पूरी हो सकती है।
राजनीतिक और प्रशासनिक हलकों में हलचल
इस घटना ने राजस्थान प्रशासनिक सेवा में भी हलचल मचा दी है। कई अधिकारी मानते हैं कि सार्वजनिक स्थानों पर इस तरह की घटना सेवा नियमों के खिलाफ है और इससे सरकारी छवि को नुकसान पहुंचता है। वहीं, कुछ अधिकारियों का कहना है कि पंपकर्मियों द्वारा अधिकारी का अपमान भी अस्वीकार्य है और जांच के बाद सच्चाई सामने आनी चाहिए।


