शोभना शर्मा। राजस्थान की राजनीति में हलचल बढ़ाने वाली एक अहम मुलाकात बुधवार को जोधपुर में देखने को मिली। प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री और भारतीय जनता पार्टी की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष वसुंधरा राजे ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के सरसंघचालक मोहन भागवत से मुलाकात की। यह मुलाकात लाल सागर स्थित आदर्श विद्या मंदिर में हुई, जहां मोहन भागवत इन दिनों प्रवास पर हैं।
दोनों नेताओं के बीच करीब 20 मिनट तक बातचीत हुई। हालांकि इस बातचीत का एजेंडा सार्वजनिक नहीं हुआ, लेकिन मुलाकात के राजनीतिक मायने निकाले जा रहे हैं।
जोधपुर प्रवास पर वसुंधरा राजे
वसुंधरा राजे पिछले दो दिनों से पश्चिम राजस्थान के दौरे पर हैं। सोमवार देर रात वे जोधपुर पहुंचीं और अजीत भवन में ठहरीं। मंगलवार को वे जैसलमेर के मोहनगढ़ पहुंचीं, जहां पूर्व सांसद कर्नल सोनाराम के निधन के बाद उनके परिवार से मिलकर शोक संवेदना प्रकट की।
जोधपुर प्रवास के दौरान मीडिया से बातचीत में राजे ने प्रदेशवासियों को बाबा रामदेव की दशम वीर तेजाजी जयंती और खेजड़ली मेले की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि ईश्वर में आस्था और विश्वास रखने से मनोकामनाएं जरूर पूरी होती हैं, भले ही इसमें कुछ समय लग जाए।
मोहन भागवत से हुई विशेष मुलाकात
जैसलमेर से लौटते समय राजे ने रामदेवरा जाकर बाबा रामदेव की समाधि पर पूजा-अर्चना भी की। इसके बाद बुधवार सुबह उन्होंने लाल सागर पहुंचकर मोहन भागवत से भेंट की। सूत्रों के अनुसार, दोनों के बीच हुई यह मुलाकात करीब 20 मिनट तक चली।
हालांकि इस दौरान हुई बातचीत का कोई ब्योरा सामने नहीं आया है, लेकिन यह मुलाकात भाजपा और संघ के बीच राजस्थान की आगामी राजनीतिक रणनीति के लिहाज से अहम मानी जा रही है। खासकर इस समय जब राजस्थान में संगठनात्मक गतिविधियां तेज हो रही हैं, तब वसुंधरा राजे और मोहन भागवत का आमना-सामना राजनीतिक संकेत देता है।
संतों से आशीर्वाद भी लिया
मोहन भागवत से मिलने के बाद वसुंधरा राजे ने जोधपुर के बड़ा रामद्वारा जाकर संत रामप्रसाद से आशीर्वाद लिया। इसके साथ ही राईका बाग स्थित जुगल जोड़ी मंदिर में संत अचलानंद गिरी से भी उन्होंने मुलाकात कर आशीर्वाद प्राप्त किया।
अजीत भवन लौटने के बाद राजे ने एसआई भर्ती परीक्षा में सफल अभ्यर्थियों से भी मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने कहा कि किसी भी बेगुनाह को सजा नहीं मिलनी चाहिए और गुनहगार बचना नहीं चाहिए।
धार्मिक अनुष्ठान और आगे का कार्यक्रम
बुधवार को एकादशी होने के कारण वसुंधरा राजे ने अजीत भवन में ही पूजा-अर्चना की। उनके करीबी सूत्रों के अनुसार, शाम 4 बजे के बाद उनका पुष्कर जाने का कार्यक्रम निर्धारित है।