शोभना शर्मा, अजमेर। राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (NCERT) के अधीन संचालित रीजनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजुकेशन (RIE), अजमेर एक बार फिर विवादों में घिर गया है। कॉलेज के डीन और हेड (डीईएसएम) प्रो. बी. बर ठाकुर ने सार्वजनिक रूप से एक छात्रा से ‘बैड टच’ की गलती स्वीकार कर माफी मांगी है। मामले के तूल पकड़ने के बाद NCERT प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए प्रो. ठाकुर का तबादला RIE नेल्लौर (आंध्रप्रदेश) कर दिया और उन्हें तत्काल प्रभाव से कार्यमुक्त भी कर दिया गया।
माफी मांगने के बाद हुई कार्रवाई
घटना के सामने आने के बाद परिसर में छात्र-छात्राओं में भारी नाराजगी देखी गई। मामला बढ़ता देख कॉलेज प्रशासन ने दिल्ली स्थित एनसीईआरटी मुख्यालय को रिपोर्ट भेजी। इसके आधार पर एनसीईआरटी के अवर सचिव देवेंद्र कुमार ने आदेश जारी कर प्रो. ठाकुर को आरआईई अजमेर से हटाकर आरआईई नेल्लौर भेज दिया।
प्रो. ठाकुर ने कॉलेज परिसर में सबके सामने गलती स्वीकार करते हुए माफी मांगी। बताया गया कि उन्होंने छात्रा के साथ की गई अनुचित हरकत को भी सार्वजनिक रूप से रीक्रिएट किया, जिसके वीडियो स्टूडेंट्स ने रिकॉर्ड कर लिए। यह घटनाक्रम कॉलेज समुदाय के बीच गहरी असहजता और असंतोष का कारण बना।
सैक्सुअल हैरेसमेंट कमेटी की जांच शुरू
कॉलेज प्रिंसिपल डॉ. सुचेता प्रकाश पर शुरू में डीन के पक्ष में खड़े होने के आरोप लगे। पीड़ित छात्रा और अन्य शिकायतकर्ताओं पर शिकायत वापस लेने का दबाव बनाए जाने की बातें भी सामने आईं। हालांकि, जब छात्रा अपने रुख पर अडिग रही, तब जाकर कॉलेज प्रशासन ने यौन उत्पीड़न शिकायत निवारण समिति का गठन किया। कमेटी ने मामले की औपचारिक जांच शुरू कर दी है। छात्रों का कहना है कि यदि कॉलेज प्रशासन समय पर निष्पक्ष कार्रवाई करता, तो यह स्थिति उत्पन्न ही नहीं होती।
वरिष्ठता की अनदेखी, जूनियर को चार्ज
प्रो. ठाकुर के स्थान पर नियुक्त किए गए नए प्रभारी डीन प्रो. केसी शेखर को लेकर भी कॉलेज में चर्चा का विषय बने हुए हैं। स्टाफ का कहना है कि कॉलेज में उनसे वरिष्ठ दो प्रोफेसर पहले से मौजूद हैं, इसके बावजूद वरिष्ठता को नजरअंदाज कर जूनियर अधिकारी को पदभार सौंपा गया। इससे स्टाफ में नाराजगी और संस्थागत प्रक्रिया को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं।
पिछले साल भी सामने आया था यौन दुर्व्यवहार का मामला
यह पहला मामला नहीं है जब RIE अजमेर यौन उत्पीड़न के आरोपों से घिरा हो। जुलाई 2023 में भी केमिस्ट्री विभाग के प्रोफेसर आरबी पारीक पर एक छात्रा ने बैड टच के आरोप लगाए थे। पीड़िता के पिता ने तत्कालीन प्रिंसिपल प्रो. वीसी शर्मा को लिखित शिकायत सौंपी थी। लेकिन उस समय मामला दबा दिया गया और बाद में प्रो. पारीक का भी तबादला कर दिया गया। कॉलेज सूत्रों का कहना है कि इस प्रकार के मामले संस्थान की छवि और छात्राओं की सुरक्षा को लेकर गंभीर चिंता का विषय हैं। ऐसे आरोपों पर त्वरित, पारदर्शी और निष्पक्ष कार्रवाई की आवश्यकता है।