मनीषा शर्मा । तीर्थ नगरी पुष्कर के जयपुर घाट पर इजराइली पर्यटकों ने गुरुवार को अपने नए साल का जश्न मनाया और अपने देश के लिए शांति की प्रार्थना की। इजराइली पर्यटकों ने धार्मिक पुस्तकें पढ़कर इजराइल में चल रहे युद्ध के दौरान देशवासियों की सुरक्षा की कामना की। पुष्कर घूमने आईं इजराइली महिला पर्यटकों ने दैनिक भास्कर से बातचीत की और कहा कि यह युद्ध पूरी तरह से पॉलिटिकल है। वे इसे नहीं चाहतीं, बल्कि शांति और सुकून से जीना चाहती हैं।
इजराइली महिला की अपील: “हम शांति चाहते हैं”
इजराइली महिला नाना, जो अपने देश की वर्तमान स्थिति से गहरे प्रभावित हैं, ने कहा, “यह हमारे यहूदी कैलेंडर का नया साल है और यह हमारे लिए नई शुरुआत का समय है। इस अवसर पर हम देश के लिए प्रार्थना कर रहे हैं जो इस समय युद्ध में है। हम नहीं चाहते कि हमारे देश में आतंकवादी संगठन बने रहें। हमास द्वारा बंधक बनाए गए हमारे नागरिकों की सुरक्षित वापसी की हम कामना कर रहे हैं।”
नाना ने आगे बताया कि इजराइल में लड़कों और लड़कियों दोनों के लिए सेना में सेवा करना अनिवार्य है। “हमारे सभी सैनिक देश की सुरक्षा कर रहे हैं, और मैं उनके लिए भी प्रार्थना कर रही हूँ।” नाना ने बताया कि वे इस वक्त छुट्टियों के लिए भारत आई हैं, लेकिन उनके देश की स्थिति बेहद कठिन और डरावनी है।
“यह पॉलिटिकल युद्ध है, आम लोग शांति चाहते हैं”
दूसरी इजराइली पर्यटक एनोली ने भी युद्ध को लेकर अपनी चिंताओं को व्यक्त किया। उन्होंने कहा, “यह एक पॉलिटिकल लड़ाई है, और हम इसे नहीं चाहते। हमें बस हमारे बंधक नागरिकों की सुरक्षित वापसी चाहिए। यह संघर्ष वर्षों से चल रहा है, लेकिन इस बार स्थिति बेहद बिगड़ गई है। हम गाजा में तब तक पीछे नहीं हट सकते जब तक हमारे नागरिक वापस नहीं आते।”
एनोली ने कहा कि आम जनता कभी युद्ध नहीं चाहती। “हम शांति और सुकून से जीना चाहते हैं। आप यहां देख सकते हैं कि हम भारत आ रहे हैं, हमें यह जगह बहुत पसंद है क्योंकि यह शांति का प्रतीक है। हमें युद्ध नहीं चाहिए, लेकिन यह हमारे हाथ में नहीं है, यह हमारे देश की राजनीति का मामला है।”
इजराइली पर्यटकों की शांति की प्रार्थना
इजराइली पर्यटक भारत में आकर शांति की प्रार्थना कर रहे हैं। एनोली ने कहा कि उन्होंने पुष्कर आने का फैसला इसलिए किया क्योंकि यहां की आध्यात्मिकता और शांति उन्हें आकर्षित करती है। “हम युद्ध से थक चुके हैं। हम केवल अपने देश के नागरिकों की सुरक्षा और शांति के लिए प्रार्थना कर रहे हैं। हमें यकीन है कि इस संघर्ष का अंत होगा, और हम एक शांतिपूर्ण जीवन जी पाएंगे।”
इजराइल में अनिवार्य सैन्य सेवा
नाना ने इजराइल की सैन्य सेवा के बारे में बताया कि हर युवा, चाहे वह लड़का हो या लड़की, को सेना में सेवा देना अनिवार्य है। इजराइली समाज में सेना का विशेष स्थान है और हर नागरिक को इसमें कुछ समय के लिए योगदान देना पड़ता है। नाना ने यह भी कहा कि भले ही वह वर्तमान में छुट्टियों पर हैं, लेकिन सभी इजराइली अपने देश की मदद करने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे, चाहे वह किसी भी रूप में हो।
भारत में शांति की तलाश
इजराइली पर्यटकों के मुताबिक, वे युद्ध की कठिनाइयों से दूर भारत में शांति की तलाश में आए हैं। उनका कहना है कि भारत एक ऐसी जगह है जहां उन्हें सुकून और शांति महसूस होती है। वे पुष्कर में धर्मगुरुओं के साथ मिलकर अपने देश के लिए प्रार्थना कर रहे हैं और उम्मीद कर रहे हैं कि युद्ध जल्द खत्म हो जाएगा।


