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विनेश फोगाट के राजनीति में आने से ताऊ महावीर सिंह फोगाट नाराज

विनेश फोगाट के राजनीति में आने से ताऊ महावीर सिंह फोगाट नाराज

मनीषा शर्मा। भारतीय पहलवान विनेश फोगाट के राजनीति में कदम रखने से उनके ताऊ और भारतीय कुश्ती टीम के पूर्व कोच महावीर सिंह फोगाट ने अपनी नाराजगी जाहिर की है। महावीर सिंह का मानना है कि विनेश को राजनीति में नहीं जाना चाहिए था, बल्कि उन्हें अपने खेल पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए था। सोमवार को माउंट आबू से हरियाणा लौटते समय सीकर के लक्ष्मणगढ़ में एक होटल में रुककर मीडियाकर्मियों से बातचीत करते हुए महावीर सिंह ने कहा कि वह विनेश के राजनीतिक प्रचार का हिस्सा नहीं बनेंगे और चुनाव प्रचार में हिस्सा लेने से साफ इनकार कर दिया।

महावीर सिंह फोगाट की नाराजगी

विनेश फोगाट हाल ही में कांग्रेस में शामिल हुई हैं और उन्हें जुलाना विधानसभा सीट से कांग्रेस का उम्मीदवार बनाया गया है। इस राजनीतिक कदम से उनके ताऊ महावीर सिंह बेहद नाखुश हैं। उन्होंने कहा, “विनेश को राजनीति में नहीं आना चाहिए था। अभी उसे अपने खेल पर ध्यान देना चाहिए था। लेकिन कुछ लोगों के बहकावे में आकर वह राजनीति में चली गई।”

महावीर सिंह फोगाट, जो द्रोणाचार्य अवार्डी और भारतीय कुश्ती टीम के कोच रह चुके हैं, ने कहा कि वह राजनीति में खेल और खेल में राजनीति के खिलाफ हैं। उन्होंने साफ कर दिया कि वह अपनी भतीजी के प्रचार अभियान का हिस्सा नहीं बनेंगे और विनेश के इस फैसले से दुखी हैं।

ओलंपिक पर ध्यान देना चाहिए था

महावीर सिंह फोगाट ने इस बात पर जोर दिया कि विनेश के पास अपने खेल जीवन में और भी बड़ी उपलब्धियां हासिल करने का समय था। उन्होंने कहा, “विनेश ने पेरिस ओलंपिक में अच्छा प्रदर्शन किया था, लेकिन फाइनल में अयोग्य हो गई थी। भारत के लोग उसे बहुत प्यार करते हैं और 2028 ओलंपिक में स्वर्ण पदक की उम्मीद कर रहे थे। परंतु, अब वह राजनीति में व्यस्त हो जाएगी और खेल पर ध्यान नहीं दे पाएगी।”

खेल छोड़ने का सही विकल्प

महावीर सिंह ने यह भी कहा कि अगर विनेश को पहलवानी छोड़नी थी, तो उन्हें एक कुश्ती अकादमी खोलकर नए पहलवानों को प्रशिक्षित करना चाहिए था। उन्होंने कहा, “विनेश को अभी राजनीति करने की उम्र नहीं हुई है। उसने खेल के लिए और भी बड़े योगदान दे सकती थी। भारत ने एक ओलंपिक पदक विजेता खो दिया है।”

महावीर सिंह फोगाट का मानना है कि विनेश अभी भी युवा हैं और उन्हें राजनीति में आने के बजाय 2028 ओलंपिक पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए था। इस फैसले से न केवल परिवार, बल्कि देश भी एक बेहतरीन एथलीट से वंचित हो गया है, जो भविष्य में और भी उपलब्धियां हासिल कर सकती थी।

राजनीति और खेल के बीच टकराव

विनेश फोगाट के ताऊ ने यह स्पष्ट कर दिया कि वे खेल और राजनीति के बीच टकराव को सही नहीं मानते। उनका मानना है कि विनेश को खेल में ध्यान देना चाहिए था और राजनीति में उतरने का यह सही समय नहीं है। उन्होंने कहा कि विनेश को अपनी क्षमता का सही इस्तेमाल खेल के क्षेत्र में करना चाहिए था, न कि राजनीति में।

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